CM नीतीश को अब भी उम्मीद, बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देगा केंद्र

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पटना: पिछले हफ़्ते केंद्रीय बजट पेश होने के बाद जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) एक मात्र सहयोगी था जिसने तुरंत बजट का स्वागत किया. पार्टी अध्यक्ष नीतीश कुमार ने ख़ासकर स्वास्थ्य और कृषि क्षेत्र में की गई घोषणाओं का स्वागत किया. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को अब भी उम्मीद है कि केंद्र बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने पर विचार करेगा क्योंकि ये बिहार की सर्वसम्मत मांग है. हालांकि, नीतीश कुमार का कहना है कि आज इन बातों को छेड़ने का कोई फ़ायदा नहीं. लेकिन विशेष राज्य का दर्जा राज्य सरकार की मांग है जिसे राज्य विधान मंडल के दोनों सदनों से पारित किया गया और जिसे बराबर केंद्र के सामने रखा जाता है. ख़ासकर बाढ़ के मद्देनज़र बिहार में होनेवाली तबाही और बर्बादी को ध्यान में रखते हुए विशेष नज़रिया अपनाना होगा.

लेकिन नीतीश ने कहा कि ये उम्मीद करना कि ये हो ही जाएगा क्योंकि फिर से तालमेल हुआ है, ऐसी कोई बात नहीं है. क्योंकि तालमेल के पीछे ये कोई शर्त नहीं रखी गयी थी. नीतीश का कहना है कि बजट में कहीं से बिहार की उपेक्षा नहीं की गयी. इस बार केंद्रीय टैक्स के तहत जो राज्‍यवार आवंटन किया गया है, वो क़रीब 76 हज़ार करोड़ प्रस्तावित है, जो उन लोगों के उम्मीद से कहीं अधिक है. इसके अलावा केंद्रीय योजना के मद में राज्य को अलग से राशि मिलेगी.

नीतीश का कहना है कि जब से भाजपा के साथ सरकार बनी है, जमीन पर योजनाएं उतारी जा रही हैं. केंद्र के साथ हर महत्‍वपूर्ण विभाग जैसे रोड, बिजली, नगर विकास सभी की समीक्षा हुई है. इससे पहले  बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी ने बजट को निराशाजनक करार दिया था.

उन्होंने ट्वीट कर नीतीश कुमार से सवाल करते हुए लिखा था, “बजट में बिहार के लिए कुछ भी नहीं है. बिहार को विशेष पैकेज और विशेष राज्य के दर्जे पर कुछ भी नहीं मिला. नीतीश कुमार बताएं क्या यही उनके लिए डबल इंजन है? नीतीश जी की वजह से भाजपा की केंद्र सरकार बिहार के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है.”