यूपी के मुजफ्फनगर में गन्ना किसान के आत्महत्या करने के मामले ने शुक्रवार को तूल पकड़ लिया। एक ओर जहां ग्रामीणों ने किसान के शव सड़क पर रखकर प्रशासन से मुआवजे की मांग की। हंगामा बढ़ने की सूचना पर केंद्रीय राज्य मंत्री संजीव बालियान, विधायक उमेश मलिक, रालोद नेता व पूर्व मंत्री योगराज सिंह, भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत सहित कई नेता किसानों से बात करने पहुंचे। वहीं दूसरी ओर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने ट्वीट कर योगी सरकार पर गन्ना किसानों की अनदेखी का आरोप लगाया। हालांकि जिलाधिकारी सेल्वा कुमारी जे ने किसान की आत्महत्या के पीछे गन्ना आपूर्ति को कारण मानने से इंकार किया है। केंद्रीय मंत्री ने आश्वासन दिया इस पूरे मामले की जांच कराई जाएगी।
बता दें कि चीनी मिल में कथित रूप से गन्ना आपूर्ति के लिए पर्ची न मिलने के कारण गुरुवार को फांसी लगाकर आत्महत्या करने वाले किसान ओमपाल का शव शुक्रवार को सुबह करीब 10 बजे जब पोस्टमार्टम के बाद सिसौली पहुंचा तो ग्रामीणों ने शव को वैश्य धर्मशाला सभा के सामने नाले के पुल पर रखकर जाम लगा दिया। उधर इस मुद्दे को लेकर विपक्ष कोई राजनीति ना कर पाए इसलिए किसान का शव रखकर जाम लगाने की सूचना मिलते ही केंद्रीय राज्य मंत्री संजीव बालियान, स्थानीय भाजपा विधायक उमेश मलिक के साथ मौके पर पहुंच गए और भीड़ के बीच में ही बैठकर उनकी बात सुनने लगे। उन्होंने इस संबंध में जिलाधिकारी से भी बात की और उन्हें मौके पर पहुंचकर किसानों की बात सुनने के लिए बुलाया ।
भाकियू नेता चौधरी राकेश टिकैत के अलावा रालोद व सपा के नेता भी वहां पहुंच गए। जिलाधिकारी सेल्वा कुमारी जे ने किसान की आत्महत्या के पीछे गन्ने की आपूर्ति का कारण नहीं माना है उन्होंने बताया कि किसान का जितना बेसिक कोटा और एडिशनल बॉन्डिंग चीनी मिल से होना था उसमें उसमें से वह 149 कुंतल गन्ना चीनी मिल में सप्लाई कर चुका है जबकि उसे केवल 20 कुंतल गन्ना और देना था जिसकी उसे अप्रैल में ही पर्ची दी जा चुकी है। उन्होंने बताया कि प्रारंभिक जांच में इस आत्महत्या के पीछे मृतक ओमपाल का अपने परिवार के लोगों से जमीनी विवाद होना सामने आ रहा है। उधर सिसौली में भारी संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया गया है जिलाधिकारी सेल्वा कुमारी जे यहां से सिसौली के लिए रवाना हो गई है।
प्रियंका गांधी ने किया ट्वीट :
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने ट्वीट कर लिखा, भाजपा का दावा था कि 14 दिनों में पूरा भुगतान दिया जाएगा लेकिन हजारों करोड़ रुपया दबाकर चीनी मिलें बंद हो चुकी हैं। मैंने 2 दिन पहले ही सरकार को इसके लिए आगाह किया था। सोचिए इस आर्थिक तंगी के दौर में भुगतान न पाने वाले किसान परिवारों पर क्या बीत रही होगी। लेकिन भाजपा सरकार अब 14 दिन में गन्ना भुगतान का नाम तक नहीं लेती।